डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन ठप:ऑटो टिपर चालकों ने काम बंद किया, कम भुगतान व मारपीट के आरोप

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डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन ठप:ऑटो टिपर चालकों ने काम बंद किया, कम भुगतान व मारपीट के आरोप

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नगर निगम में आउटसोर्सिंग पर काम कर रहे 50 से ज्यादा ऑटाे टिपर चालकाें ने शुक्रवार को काम ठप कर दिया। आरोप लगाया कि वार्ड-30 के जमादार संजय कुमार द्वारा मारपीट व गाली-गलाैज करने की शिकायत के बावजूद काेई कार्रवाई नहीं हुर्ई। नगर निगम में शिकायत करने पर आवेदन नहीं लिया गया। एनजीओ से शिकायत करने पर एजेंसी द्वारा बायोमेट्रिक अटेंडेंस मशीन से पांच टिपर चालक का नाम हटा दिया।

एनजीओ पर नगर निगम से ज्यादा राशि लेकर कम राशि देने का भी आरोप लगाया है। ऑटाे टिपर चालकाें के काम नहीं करने से शुक्रवार को शहर में डाेर टू डाेर कूड़ा कलेक्शन नहीं हाे सका। शनिवार को आउटसोर्सिंग पर काम कर रहे ऑटो टिपर चालक इस समस्या को लेकर कलेक्ट्रेट में धरना देंगे।

वार्ड जमादार का बड़ा आरोप : मेरा जाली हस्ताक्षर कर ड्राइवर ने उठाया वेतन : वार्ड-38 के जमादार संजय कुमार का कहना है कि सीएनजी टिपर को राजू सहनी नामक ड्राइवर नहीं चलाना चाहते। जब भी सीएनजी टिपर आता है, उसे परेशानी हाेने लगती है। मारपीट का आरोप गलत है। ड्राइवर राजू ने चार बार मेरा जाली हस्ताक्षर कर वेतन उठाया है। दबाव बनाने के लिए काम ठप किया गया है।

पिछले दिनाें पकड़ा गया था तेल का खेल
पिछले दिनाें नगर आयुक्त नवीन कुमार ने तेल में खेल पकड़ा था। बहलखाना वाहन यार्ड में जब नगर आयुक्त पहुंचे ताे वहां छह माह पहले खरीदी गई 20 सीएनजी ऑटाे टिपर यार्ड में खड़ी मिली। नई ऑटाे टिपर को यार्ड में देख कर सवाल किया तो जानकारी मिली कि डीजल वाले टिपर को ही ड्राइवर चलाते हैं। नगर आयुक्त के कड़े रूख के बाद से सीएनजी टिपर भी निकल रहा है।

यूनियन की ओर से भी हुई थी शिकायत
नगर निगम कर्मचारी संघ के मंत्री सत्येंद्र प्रसाद सिंह ने 2 नवंबर को नगर आयुक्त को आवेदन देकर मानव बल के वेतन भुगतान में धांधली की शिकायत को लेकर आवेदन िदया था। जिसमें बताया था कि शर्त के मुताबिक भुगतान नहीं किया जा रहा है। सितंबर व अक्टूबर माह का भुगतान श्रम विभाग द्वारा नई दर से की गई यानी 60 रुपए प्रतिदिन की बढ़ाेतरी हुई। 1560 रुपए प्रतिमाह मानव बल का भुगतान बढ़ना चाहिए।

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